जो एक ही दुनिया में रहकर मिलने को तरसते है April 30, 2018February 1, 2018 by Real Shayari खुशनसीब होते है बादल जो दूर रहकर भी जमीन पर बरसते है और एक बदनसीब हम है जो एक ही दुनिया में रहकर मिलने को तरसते है Share this:TwitterFacebookLike this:Like Loading...